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स्मार्ट कचरा प्रबंधन पर विचार और सुझाव

स्मार्ट कचरा प्रबंधन पर विचार और सुझाव
आरंभ करने की तिथि :
Mar 15, 2016
अंतिम तिथि :
Apr 01, 2016
00:00 AM IST (GMT +5.30 Hrs)
प्रस्तुतियाँ समाप्त हो चुके

कचरा प्रबंधन पारिस्थितिक रूप से स्थायी विकास के लिए एक महत्वपूर्ण ...

कचरा प्रबंधन पारिस्थितिक रूप से स्थायी विकास के लिए एक महत्वपूर्ण आवश्यकता है। कचरे की कुशल छंटाई आज के समाज में प्रमुख समस्या है। इस परिचर्चा के मुख्य लक्ष्य हैं प्रोद्योगिकी को एक उपकरण के रूप में इस्तेमाल करते हुए निम्नलिखित समस्याओं के लिए समाधान तैयार करना:

1) कचरा उत्पादन में कमी लाना
2) कचरे का सही निपटारा सुनिश्चित करना
3) निपटाए हुए उत्पादों की रिसायकलिंग एवं दोबारा इस्तेमाल

“स्वच्छ भारत अभियान” या “क्लीन इंडिया मिशन” भारत का सबसे बड़ा स्वच्छता अभियान है, जो “स्वच्छ भारत” के सपने को साकार करने का उद्देश्य रखता है। कचरा प्रबंधन इस अभियान का अभिन्न अंग है। “स्वच्छ भारत अभियान” में योगदान के लिए ऐसे उत्पाद बनाने की परियोजनाएं स्थापित की जानी चाहिए, जो सौर ऊर्जा संचालित कचरा पात्र और कचरा दबा कर रखने वाले हों और नगर निगम अधिकारियों के सफाई दल को इनके भर जाने की सूचना दे सकें।

साथ ही ई-कचरा (प्रचलन से बाहर, खारिज, टूटे हुए, अतिरिक्त बिजली और इलेक्ट्रॉनिक उपकरण) हमारी तत्काल और दीर्घकालिक चिंता का विषय है क्योंकि यह उद्योग अनियंत्रित है और रिसायकलिंग से पर्यावरण में बड़े स्तर पर गिरावट आ सकती है और इससे मानव स्वास्थ्य के लिए बड़ा खतरा पैदा हो सकता है।

इंटरनेट ऑफ थिंग्स (IoT) नए दौर की तकनीक है जो छोटे उपकरणों/गैजेट्स को वेब आधारित प्रणाली के साथ एकीकृत करने की सुविधा देती है। यह उपकरण सेंसर के माध्यम से सिग्नल भेजने के लिए कॉन्स्ट्रेंट एप्लिकेशन प्रोटोकॉल (CoAP), मेसेज क्यू टेलीमेट्री ट्रांसपोर्ट (MQTT) आदि का इस्तेमाल करते हैं और वेब आधारित प्रणाली से एचटीटीपी प्रोटोकॉल के जरिये संपर्क बनाते हैं, ताकि मौजूदा समाधानों को विस्तार मिलता रहे।

हम आपके विचार आमंत्रित कर यह सुझाव प्राप्त करना चाहेंगे कि आईओटी के इस्तेमाल से एक स्मार्ट कचरा प्रबंधन प्रणाली किस तरह से लागू की जा सकती है, जिससे “स्वच्छ भारत अभियान” का लक्ष्य हासिल किया जा सके।