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इनोवेट फॉर डिजिटल इंडिया चैलेंज़
डिजिटल इंडिया की पहल के पीछे पूरे देश में तकनीकी क्रांति लाने की ...
डिजिटल इंडिया की पहल के पीछे पूरे देश में तकनीकी क्रांति लाने की दूरदृष्टि है। इसका लक्ष्य ऐसे देश का निर्माण करना है जिसमें हर जगह ब्रॉड बैण्ड की सुविधा, डिजिटल लिटरेसी और ऐसे सॉल्यूशंस हों जो पूरे भारत की विविधतापूर्ण जीवनशैलियों, संस्कृतियों और मूल्यों के अनुकूल और सभी के लिए सुलभ हों। यह तब मुमकिन होगा जब हम लोकल इनोवेशन को बढ़ावा दे कर विकास के ऐसे साधन जुटाएंगे जिनसे घरेलू तकनीकी अपनाने, देश की असली चुनौतियों को दूर करने और एक-एक नागरिक के लिए शिक्षा, स्वास्थ्य सेवा और अन्य सेवाएं अधिक सुलभ बनाने में कामयाबी मिलेगी।
एक तो देश में इनोवेटरों और फिर उनमें असीम उद्यम प्रतिभा की कोई कमी नहीं है। आज जरूरत है इन्हें प्रोत्साहित करने कि ताकि ये सृजन करें एक स्थायी टेक्नोलॉजी इकोसिस्टम का, जिसमें आसानी से विकसित हों देश की तरक्की के नए-नए साधन (सॉल्यूशंस)। ऐसे इनोवेटरों को प्रोत्साहित करने की एक खास पहल है ‘इंटेल एण्ड डीएसटी इनोवेटिव फॉर डिजिटल इंडिया चैलेंज. जिसे इलैक्ट्रॉनिक्स एवं सूचना प्रौद्योगिकी विभाग और माइयगव का सहयोग प्राप्त है। और इसका सूत्रधार है आईआईएम-अहमदाबाद का सेंटर फॉर इनोवेशन इनक्युबेशन एण्ड आंटरप्रेन्यरशिप। इसमें दुनिया बदलने की ताकत रखने वाले इंटेल के इनोवेशन का इतिहास है और साथ ही, डिजिटल इंडिया विज़न की विश्वस्तरीय तकनीक का बेजोड़ तालमेल है।
प्रतिभागियों को उनकी क्षमता के अनुसार आकृष्ट करने वाले दो मुख्य थीम हैं:
1.ऐसे इनोवेशन जिनसे बने नागरिकों के डिवाइस प्लैटफॉर्म के फीचर जनोपयोगी होंगे और जन-जन में ऐसी तकनीकियों की उपयोगिता बढ़ाएंगे जैसे बायोमेट्रिक सेंसिंग की क्षमता, अन्य सेंसर उपयोग करने वाले पेरिफेरल्स, इंट्युशिव यूज़र इंटरफेस, जेस्चर रिकग्निशन और मल्टी-लिंगुअल और वॉयस सपोर्ट।
2.इनोवेशन जिनसे बने ऐप्स ई-क्रांति/ मायगव ऐप्स के माध्यम से मोबाइल प्लैटफॉर्म पर ई-गवर्नेंस सेवाएं देने में तेजी का संचार करेंगे।
यह चैलेंज उद्यमियों और उद्यमी बनने के इच्छुक लोगों, इनोवेटरों, शिक्षाविदों, डिज़ाइनरों, इंजीनियरों और अन्य विभिन्न क्षेत्रों में सृजनशील लोगों के लिए है। प्रतिभागियों की मेंटरिंग करेंगे उद्योग जगत के महारथी और इंटेल के एक्सपर्ट उन्हें देंगे तकनीकी प्रक्रिया की जानकारी, प्रोडक्ट किट की सुविधा और व्यावसायीकरण के अवसर। इसके अलावा प्रतिभागियों के लिए बाजार से जुड़ने के संपर्क सूत्र और विभिन्न चरणों में वित्त व्यवस्था भी होगी ताकि उनके इनोवेटिव आइडिया केवल सपना बन कर न रह जाए बल्कि सच हो जाए।
प्रविष्टि प्रस्तुत करने की अंतिम तिथि 28 जून, 2015 है।